कोरेाना संक्रमण की वजह से पिछले 328 दिन से बंद पांचवी से ऊपर की कक्षाएं सोमवार से खुल जाएंगी। छठी, सातवीं, आठवीं, नवीं और ग्यारहवी कक्षाओं के छात्र कल से अपने अभिभावकों की अनुमति के बाद स्कूल स्कूल आ सकते हैं। पिछले साल 16 मार्च से राज्य में शैक्षिक संस्थान पूरी तरह बंद कर दिए गए थे। कक्षा 10 और 12 वीं की कक्षाओं को सरकार ने पिछले साल दो नवंबर से शुरू करा दिया था। शिक्षा मंत्री अरविंद पांडे ने शिक्षा अधिकारियों और सभी प्रधानाचार्य को निर्देश दिए कि कोरोना के लिए तय एसओपी का शत प्रतिशत पालन किया जाए। किसी भी स्तर पर कोई चूक नहीं होनी चाहिए। यदि किसी स्तर पर संक्रमण फैलने की बात आई तो संबंधित अधिकारियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
सभी स्कूलों का सेनेटाइजेशन
स्कूल री-ओपन एसओपी के अनुसार सभी स्कूलों को सेनेटाइज करना अनिवार्य है। अधिकांश स्कूलों ने एसओपी जारी होने के बाद से साफ-सफाई और सेनेटाइजेशन की कार्यवाही शुरू कर दी थी। अधिकारियों ने आज भी स्कूलों का मुआयना किया। शिक्षा सचिव आर. मीनाक्षीसुंदरम ने बताया कि एसओपी के प्रावधानों को शतप्रतिशत पालन किया जाना अनिवार्य है। इसमें किसी भी प्रकार की चूक बर्दास्त न की जाएगी। स्कूल में शिक्षक-कार्मिकों और छात्रों को मास्क पहनकर आने पर ही एंट्री दी जाएगी। स्कूल में प्रवेश देने से पहले सभी कार्मिक और छात्रों को हैंड सेनेटाइजशन, थर्मल स्कैनिंग अनिवार्य है।
9401 सरकारी और प्राईवेट स्कूल खुलने हैं आज से
स्कूल खोलने के दूसरे चरण में छठी से ग्यारहवीं तक की कक्षाएं खुलनी हैं। वर्तमान में प्रदेश में जूनियर और माध्यमिक कक्षाओं वाले सरकारी और प्राइवेट स्कूलों की संख्या 9401 हैं। इन स्कूलों में 14 लाख से छात्र- छात्राएं पढ़ते हैं।
बेसिक कक्षाएं फिलहाल ऑनलाइन
शिक्षा सचिव आर.मीनाक्षीसुंदरम के अनुसार पहली से पांचवीं तक की कक्षाओं में फिलहाल पूरी तरह से ऑनलाइन पढाई जारी रहेगी। इससे ऊपर की कक्षाओं में भी ऑनलाइन पढृाई का विकल्प खुला रहेगा। स्कूलों को निर्देश दिए दिए गए हैं ऑनलाइन पढृाई के संसाधन से वंचित छात्रों को सर्वोच्च प्राथमिकता से बुलाया जाए।
सभी सरकारी, सहायताप्राप्त और प्राइवेट स्कूलों में एसओपी का कडाई से पालन कराने के आदेश दिए गए हैं। सरकार के लिए बच्चों की सुरक्षा सर्वोच्च प्राथमिकता है। इसमें किसी भी प्रकार की चूक बर्दास्त न होगी।
अरविंद पांडे, शिक्षा मंत्री